सिंदूर से पति वशीकरण मंत्र

सिंदूर से पति वशीकरण मंत्र

देखने में लाल या नारंगी रंग का पाउडर ‘सिन्दूर’ जब भारतीय महिलाएं अपनी मांग में सजाती हैं, एक सामान्य सा चेहरा भी दिपदिपा उठता है| इसकी गणना यद्यपि सौंदर्य प्रसाधन के रूप में होती है लेकिन यह प्रसाधन मात्र नहीं है, प्रसाधन तो वह होता है जिसे मात्र सुन्दर दिखने के लिए इस्तेमाल किया जाता है| सिन्दूर एक अलग लाल रंग नहीं बल्कि भारतीय महिलाओं के सुहाग का प्रतीक है| कोई सुहागन है या कुँवारी वह उसकी मांग में भरे सिन्दूर से ही पता चल जाता है| इसके अलावा इसका उपयोग धार्मिक क्रियाओं में भी होता है| इसका सुस्पष्ट जिक्र रामायण में मिलता है| प्रसंग है कि एक बार हनुमान जी ने माता सीता से पूछा कि आप सिन्दूर क्यों लगाती हैं| सीता माता ने उत्तर दिया –इससे प्रभु राम प्रसन्न होते हैं| इतना सुनते ही उन्होंने अपने पूरे शरीर पर सिन्दूर लेप लिया| यह सोचकर कि प्रभु राम इससे अति प्रसन्न होंगे|

सिंदूर से पति वशीकरण मंत्र

सिंदूर से पति वशीकरण मंत्र

सिन्दूर वशीकरण मंत्र

अपने व्यक्तित्व में सम्मोहन लाने के लिए या किसी व्यक्ति को सम्मोहित करने के  लिए भी सिन्दूर का उपयोग किया जाता है| सिन्दूर कई प्रकार का होता है| इनमें कामियां सिन्दूर का उपयोग वशीकरण के लिए भी किया जाता है| यह सिन्दूर आसाम में पाया जाता है, प्रायः कामरूप कामाख्या में इस्तेमाल होता है| इसलिए इसे कामिया सिन्दूर कहा जाता है| इसे वहीँ से प्राप्त किया जा सकता है| शुक्ल पक्ष के रविवार के दिन निचे इस मंत्र का एक सौ आठ बार जाप करें| इसके बाद यह सिद्ध हो जाता है| जिसे वशीभूत करना हो, उसके सामने यह अभिमंत्रित सिन्दूर चुटकी में लेकर सात बार इस मंत्र को पढ़े और अपने मस्तक पर तिलक लगा दें|

हथेली में हनुमान बसे/बसे भैरो कपार

नरसिंह देव की मोहिनी/मोहे सकल संसार

मोहन रे मोहंता वीर! सब बीरन में तेरा सीर

नजर सबकी बाँध दे/तुझे चढ़ाऊ तेल सिन्दूर

तेल सिन्दूर कहाँ से आया /कैलास परबत से आया

कौन लाया/ अंजनी का पूत गौरी का गणेश लाया

काला-गोरा-तोतला बसे तीनो कपार

बिंदा तेल सिन्दूर का दुस्मन का गया पताल

दुहाई कामिया सिन्दूर की/देख हमें सीतल हो जाए

सत नाम आदेश गुरु की/सत कबीर सत गुरु

उपर्युक मंत्र अत्यंत शक्तिशाली है, इसे हनुमान और सिन्दूर दोनों का संयोग प्रभावशाली बना देता है| इसका उपयोग किसी सार्थक उद्देश्य के लिए ही करें| इसके अलावा किसी योग्य गुरु के निर्देशन में इसे सिद्ध करना ज्यादा श्रेयस्कर है| इसके अलावा शुद्ध कामिया सिन्दूर प्राप्त होना भी आवश्यक है|

कामिया सिन्दूर की पहचान

  • यह मूल रूप में पत्थर से प्राप्त होता है|
  • इसका रंग लाल और काला होता है|

सिंदूर के चमत्कारी टोटके

जीवन की उलझनों का जब कोई निदान नहीं मिलता तभी हम टोटकों की तरफ जाते हैं| स्मरण रहे इनका कोई तार्किक या वैज्ञानिक आधार नहीं होता है| तर्क होते भी हैं तो उनका आधार मात्र विशवास या पुरखे जो बताकर गए हैं वही होता है| इसलिए शुद्ध तार्किक मस्तिष्क वाले व्यक्तियों के लिए यह नहीं है| जीवन के विविध समस्याओं के निदान के लिए सिन्दूर को आजमाया जा सकता है|

  • यदि पति-पत्नी में ख़टपट होती हो और वह घर छोड़ कर चली गई हो, लाख कोशिशो के बाद भी वापस नहीं आ रही हो, किसी भी दिन सुबह स्नान के बाद अपनी पत्नी का ऐसा चित्र लें जिसमें वह सामने देख रही हो और क्लोज अप हो| अब उस चित्र का मांग सिन्दूर से भर दें| ऐसा एक सप्ताह करते ही वह वापस जाएगी या उससे संवाद के रास्ते खुल जाएंगे|
  • यदि किसी भी कारण से अत्यधिक परेशान हों तो पांच शनिवार और पांच मंगलवार हनुमान जी को चमेली के तेल में सिन्दूर मिलाकर चढ़ाएं| सकारात्मक परिवर्तन होगा|
  • अगर मान प्रतिष्ठा में कमी लग रही हो| लोग आपको सम्मान की दृष्टि से ना देखते हो तो एक पान का पत्ता लें, उसमें फिटकिरी और सिन्दूर रखकर मोड़कर बाँध दें| अब इसे लगातार तीन बुधवार पीपल के पेड़ के नीचे रख दें और किसी पत्थर से दबा दें| लौटते वक्त पीछे मुड़कर न देखें| तीन बुधवार के बाद आप मनोवांछित परिवर्तन पाएंगे|
  • कई बार वास्तु दोष के कारण भी घर में अशांति रहती है| वास्तु दोष दूर करने के लिए घर के मुख्य द्वार पर तेल और सिन्दूर मिलाकर लगाएं|
  • घर में पैसे की किल्लत हो तो एक गणेश प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा करवाएं, विधिवत पूजन करें फिर उन्हें घर के मुख्य द्वार के पास स्थापित कर दें| नियमित धुप अगरबत्ती दिखाते रहें| इससे दरिद्रा दूर भागती है|
  • लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए एक नारियल लें उस पर सिन्दूर की ग्यारह लकीरें बनाएं| अब उसे लाल कपडे बाँधकर पूजा स्थल पर रखें व नियमित पूजा करें|
  • अगर कुंडली में मंगल और सूर्य की स्थिति अच्छी न हो अथवा इनकी महादशा या अन्तर्दशा चल रही हो तो बहते हुए पानी में सिन्दूर बहा दें| ऐसा करने से ये दोनों ग्रह अनुकूल हो जाएँगे|
  • यदि पति अक्सर बीमार रहते हो तो होली के दिन पांच सुहागनों को आमंत्रित करें, उनके साथ सिर्फ सिन्दूर की होली खेंलें| उन्हें भोजन करवाकर चूड़ी सिन्दूर बिंदी बिछुए आलता आदि सुहाग सामग्री देकर विदा करें|
  • अगर किसी प्रतियोगी परिक्षा में बार बार असफल हो रहे हो तो शुक्ल पक्ष के पुष्य योगमें मंदिर जाकर गणेश जी दर्शन करें तथा सिन्दूर दान करें|
  • कई बार योग्यता होते हुए भी सही नौकरी नहीं मिलती| यदि नौकरी पाने में बहुत अडचने आ रही हो तो किसी भी शुक्ल पक्ष के वृहस्पतिवार के दिन नया पीले रंग के कपडे का टुकड़ा लें| अब उस पर अपनी अनामिका से 63 अंक लिखें| लिखने के बाद घर के पूजन स्थल पर जाकर देवी लक्ष्मी से कृपा के लिए प्राथना करें और उनके चरणों में यह कपड़ा अर्पित कर दें| जल्दी ही अच्छी खबर मिलेगी|